बीएसपी की राष्ट्रीय अध्यक्ष और यूपी की पूर्व मुख्यमंत्री मायावती ने कांग्रेस और एसपी को आरक्षण बताया है। इसके साथ ही उन्होंने इनके साथ भविष्य में राजनीतिक गठबंधन नहीं करने का ऐलान किया है।
बीएसपी सुप्रीमो मायावती ने रविवार को सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म 'एक्स' पर बयान जारी करते हुए कांग्रेस और समाजवादी पार्टी पर निशाना साधा और इन्हें आरक्षण विरोधी करार दिया। उन्होंने इन दोनों राजनीतिक दलों के साथ भविष्य में गठबंधन से साफ मना कर दिया है। मायावती ने अपने बयान में कांग्रेस की नीतियों पर भी सवाल उठाए और कहा कि कांग्रेस ने केंद्र सरकार में रहते हुए जातीय जनगणना क्यों नहीं करवाई।
मायावती ने आगे कहा कि प्रयागराज में संविधान सम्मान समारोह करने वाली कांग्रेस को बाबा साहेब डॉक्टर भीमराव अंबेडकर के अनुयायी कभी माफ नहीं करेंगे, जिसने संविधान के मुख्य निर्माता बाबा साहेब को उनके जीते-जी व देहान्त के बाद भी भारत रत्न की उपाधि से सम्मानित नहीं किया। इसके अलावा बाबा साहेब के आंदोलन को गति देने वाले कांशीराम जी का देहांत होने पर इसी कांग्रेस ने केंद्र में सत्ता में रहते उनके सम्मान में एक दिन का भी राष्ट्रीय शोक घोषित नहीं किया था। इसी तरह उस वक्त यूपी में एसपी सरकार ने भी राजकीय शोक घोषित नहीं किया था। इन दोनों दलों की ऐसी दोगली सोच, चाल और चरित्र से बहुजन समाज जरूर सजग रहें।
बीएसपी सुप्रीमो मायावती ने कांग्रेस से सवाल किया कि केंद्र में बीजेपी के सत्ता आने से पहले कांग्रेस ने अपनी सरकार में राष्ट्रीय जातीय जनगणना क्यों नहीं कराई थी जो अब इसकी बात कर रहे हैं, जबकि बीएसपी इसकी हमेशा ही पक्षधर रही है, क्योंकि इसका होना कमजोर वर्गों के हित में बहुत जरूरी है।